दूसरा टेस्ट जीतने के लिए भारतीय टीम में हो सकता है बड़ा बदलाव

दोस्तों आपको बता दे की भारतीय कप्तान विराट कोहली ने न्यूजीलैंड के खिलाफ दूसरे टेस्ट मैच से पहले, अपने बल्लेबाजों से बेहद रक्षात्मक रवैया छोड़ने की अपील करते हुए कहा कि विदेशी दौरों में इस तरह के खेल से कभी फायदा नहीं मिलता. भारत को बेसिन रिजर्व में पहले टेस्ट मैच में 10 विकेट से हार का सामना करना पड़ा था. वह तेज गेंदबाजों के लिये मददगार पिच पर दोनों पारियों में 200 रन तक भी नहीं पहुंच पाया था.

मयंक अग्रवाल – दोस्तों पहले टेस्ट मैच में किसी भारतीय बल्लेबाज ने कीवी गेंदबाजी का डटकर सामना किया, वह मयंक अग्रवाल थे। दूसरी पारी में उन्होंने अर्धशतक भी बनाया लेकिन टीम को हार से नहीं बचा पाए। दूसरे टेस्ट में अपनी अच्छी शुरुआत को बड़ी पारी में तब्दील करना चाहेंगे।

चेतेश्वर पुजारा – दोस्तों पहले टेस्ट की दोनों पारियों की मिलाकर पुजारा के बल्ले से 22 रन निकले थे। उनका फ्लॉप होना भारतीय टीम के हार की बड़ी वजह था। सिडनी में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ शतक बनाने के बाद से उनके बल्ले से टेस्ट मैचों में शतक भी नहीं निकला है। वह इस कमी को पूरी करना चाहेंगे।

विराट कोहली
दोस्तों कोहली ने हार के बाद कहा, मुझे लगता है कि बल्लेबाजी इकाई के तौर पर हम जिस भाषा का उपयोग करते हैं, उसे सही करना होगा. मुझे नहीं लगता है कि सतर्क होने या बेहद सावधानी बरतने से मदद मिलेगी क्योंकि ऐसे में हो सकता है कि आप अपने शॉट नहीं खेल पाओ. दूसरी पारी में तकनीकी तौर पर मंझे हुए बल्लेबाज चेतेश्वर पुजारा ने बेहद रक्षात्मक रवैया अपनाया और 81 गेंदों पर 11 रन बनाये. विराट कोहली के लिए यह दौरा किसी बुरे सपने की तरह रहा है। 8 पारियों में उनके बल्ले से सिर्फ एक ही अर्धशतक निकला है। पहले टेस्ट मैच में वह 2 और 19 रन बनाकर आउट हुए थे। बांग्लादेश के खिलाफ डे-नाइट टेस्ट के बाद उन्होंने कोई इंटरनेशनल शतक भी नहीं बनाया है।

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