जानिए अस्थमा अटैक के लिए करें ये घरेलू उपाय

अस्थमा के लक्षण अचानक बिगड़ जाने की स्थिति को अस्थमा अटैक कहते हैं। ये समस्या श्वसन मार्ग की मांसपेशियां संकुचित होने के कारण होती है। अस्थमा अटैक के दौरान खांसी, सांस लेने में दिक्कत व सांस लेने में आवाज़ आना जैसी समस्याएं होती हैं। कम गंभीर अस्थमा अटैक घरेलू उपाय करने से ठीक हो जाता है लेकिन अधिक गंभीर अटैक घातक साबित हो सकता है।

अस्थमा अटैक क्या होता है –
जब अस्थमा के लक्षण बढ़ जाते हैं या अचानक बिगड़ जाते हैं, तो उसे अस्थमा अटैक आना कहा जाता है। इसमें फेफडों के अंदर की श्वसन नलियों की मांसपेशियां संकुचित होने लगती हैं, जिससे सांस लेने में दिक्कत होती है। ये बिना किसी कारण हो सकता है या कभी-कभी कुछ विशेष कारणों के कारण भी ये समस्या हो सकती है, जैसे सिगरेट पीना या जुकाम।

अस्थमा अटैक को रोकने का तरीका होता है अटैक होने पर जल्द इसका उपाय करना। इसके उपाय जानने के लिए अस्थमा की समस्या होने पर अपने डॉक्टर से बात करें ताकि आप अस्थमा का अटैक आने पर जल्द कुछ कर पाएं।

अस्थमा का अटैक आने पर आमतौर पर लोग अपने आप इनहेलर की मदद से अपनी स्थिति ठीक कर लेते हैं, लेकिन अगर उनके पास इनहेलर नहीं है, तो आप उन्हें प्राथमिक उपचार देकर उनकी मदद कर सकते हैं।

निम्नलिखित घरेलू उपाय करने से अस्थमा अटैक आने पर आपको मदद मिल सकती है –

  1. सीधे बैठें
    सीधे बैठने से आपकी श्वसन नली काफी हद तक खुलेगी जिससे आप और अच्छे से सांस ले पाएंगे। लोगों को ऐसी स्थिति में कुर्सी या ऐसी जगह बैठना ज़्यादा मददगार लगता है जहां पीठ को सहारा देने के लिए कुछ मौजूद हो। अस्थमा का अटैक आने पर लेटे नहीं, ऐसा करने से आपको सांस लेना मुश्किल हो सकता है।
  2. धीरे-धीरे गहरी सांसें लें
    धीरे-धीरे और गहरी सांस लेने से आपकी सांस नहीं फूलेगी। सांस फूलने से शरीर में जाने वाली ऑक्सीजन की मात्रा कम हो जाती है। हालांकि, अस्थमा अटैक की स्थिति में शांत रहकर शीरे-धीरे गहरी सांसें लेना मुश्किल हो जाता है।

कुछ ब्रीथिंग एक्सरसाइज (सांस लेने के व्यायाम) करने से श्वसन नलियां लम्बे समय तक खुलती हैं, जिससे अस्थमा अटैक की स्थिति में सांस लेना आसान हो जाता है। ये व्यायाम निम्नलिखित हैं –

होंठ गोल करके सांस लेना – इस तरीके से सांस लेने के लिए अपनी नाक से हवा अंदर लें और होठों को गोल करके हवा बाहर निकालें। याद रहे कि जितनी हवा आप अंदर ले रहे हैं उससे दुगनी हवा बाहर निकालें।
​पेट पर हाथ रख कर सांस लेना – अपने पेट पर हाथ रखकर नाक से हवा अंदर लें और गर्दन व कन्धों को आराम देते हुए हवा बाहर निकालें। याद रहे कि जो हवा आप बाहर निकाल रहे हों वो अंदर ली गई हवा से दो या तीन गुना अधिक हो।

  1. सरसों का तेल
    अस्थमा अटैक आने पर आपातकालीन स्थिति में सरसों के तेल का उपयोग करना लाभदायक होता है। ध्यान रहे कि यहां शुद्ध सरसों के तेल की बात की जा रही है, जो सरसों को पीसकर निकाला जाता है। बाजार में मिलने वाले संसाधित सरसों के तेल को सीधे त्वचा पर नहीं लगाना चाहिए।
    शुद्ध सरसों के तेल को गरम करके उसमें थोड़ा नमक मिला लें। अब इस पेस्ट से अपने सीने पर तब तक मसाज करें जब तक आपके लक्षण ठीक न हो जाएं। इससे अस्थमा अटैक आने पर राहत मिलेगी और श्वसन नलियां खुलेंगी, जिससे फेफड़े सही से काम कर सकेंगे।

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