यस बैंक धारकों के लिए बुरी खबर
RBI ने क्यों लगाई पाबंदी?
आसान शब्दों मे कहें तो सरकार किसी भी हालत में यस बैंक को डुबने से बचाना चाहती है. इसके लिए सरकार ने बैंक पर ये पाबंदियां लगाई है. आरबीआई ने कहा कि सार्वजनिक हित और बैंक के जर्माकर्ताओं के हित को ध्यान में रखते हुए बैंकिग नियम कानून 1949 की धारा 45 के तहत पाबंदियां लगाई गई है. इसके अलावा हमारे पास कोई और विकल्प नहीं था.
बयान में कहा गया कि बैंक के प्रबंधन ने इस बात का संकेत दिया था कि वह विभिन्न निवेशकों से बात हो रही है और इसमें सफलता मिलने की उम्मीद है, लेकिन विभिन्न वजहों से उन्होंने बैंक में कोई पूंजी नहीं डाली.
रिपोर्ट की माने तो यस बैंक पर कुल 24 हजार करोड़ डॉलर कर कर्ज है और बैंक के पास करीब 40 अरब डॉलर की बैलेंस सीट है. कैपिटल बेस बढ़ाने के लिए बैंक ने 2 अरब डॉलर चुकाने का फैसला किया था
जिसके लिए बैंक ने अपना रेजोल्यूशन प्लान SBI, HDFC, LIC और AXIS बैंक को सौंपा था, लेकिन प्लान पर सहमति नहीं बनी. बताते चले कि अगस्त 2018 में बैंक के शेयर का प्राइस 400 रुपये था, जो वित्तीय संकट के चलते फिलहाल 37 रुपये के करीब है.
बता दें कि, बैंक का नियंत्रण भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) के नेतृत्व में वित्तीय संस्थानों के एक समूह के हाथ में देने की तैयारी की गयी है। आरबीआई ने येस बैंक के निदेशक मंडल को तत्काल प्रभाव से भंग कर दिया गया है और एसबीआई के पूर्व मुख्य वित्त अधिकारी (सीएफओ) प्रशांत कुमार को येस बैंक का प्रशासक नियुक्त किया गया है।