च्युइंगगम चबाते-चबाते प्याज काटने से आँख से आँसू नहीं आते
आप टीवी में कोई इमोशनल सीन देख रहे हैं, या फिर अपने बचपन की फोटो या फिर ऐसे ही अचानक आपकी आंखों में कुछ चला जाता है और फौरन आपकी आंखों से आंसू आ जाता है। ये एक बहुत सिंपल रिऐक्शन है। आंसू क्यों आते हैं, कैसे आते हैं और कितने आते हैं, क्या आपने कभी इसपर गंभीरता से सोचा है? आइये हम आपको बताते हैं आंसुओं से जुड़ी कुछ ऐसी रोचक बातें जिन्हें जानकर आप हो जाएंगे हैरान
पुरुषों से ज्यादा रोती हैं महिलाएं : द टेलीग्राफ में प्रकाशित जर्मन शोध की मानें तो महिलाएं पुरुषों से अधिक रोती हैं। महिलाओं के आंसुओं से संबंधित ग्लैंड पुरुषों से अधिक सक्रिय होते हैं और इनकी बनावट अलग होती है।
महिलाओं की आंखों में आंसू एक महीने में करीब 5.3 बार आते हैं जबकि पुरुषों की आंखों से आंसू 1.4 बार गिरते हैं।
महिलाएं औसतन एक बार में कम से कम छह मिनट तक रोती हैं जबकि पुरुषों के लिए आंसू बहने की अवधि आमतौर पर दो से चार मिनट तक होती है।
प्याज काटते वक्त क्यों आते हैं आंसू : प्याज काटते वक्त इससे निकलने वाला ऑक्साइड लैक्रिमल ग्लैंड को प्रभावित करता है जिससे इस ग्लैंड से आंसू निकलने शुरू हो जाते हैं। यही वजह है प्याज काटते वक्त आंखों में जलन के साथ आंसू निकलते हैं।
रोते वक्त क्यों बहती है नाक? : आंसू बनाने वाला ग्लैंड – लैक्रिमल ग्लैंड आंखों के ऊपरी हिस्से में स्थित होता है। बहुत अधिक आंसू बनने की दशा में ये आंखों से बाहर तो निकलते ही हैं बल्कि श्वास नली में भी चले जाते हैं जिससे नाक बहने लगती है।
च्युइंगगम चबाते-चबाते प्याज काटने से आँख से आँसू नहीं आते ।
लगभग छः माह की उम्र होने तक रोने पर भी बच्चों की आँख से आँसू नहीं निकलते।”}