क्या सरकारी नौकरी अब आलसी और कामचोर लोगों के लिए है? जानिए
बात यह नही है कि सरकारी नौकरी आलसी और कामचोर लोगों के लिए होती है।
बात यह है कि जब किसी भी आदमी को सुरक्षा की गारंटी मिल जाती है तो प्राकृतिक रूप से आलसी बन जाता है। चौकन्ना तो तभी तक रहता है जब तक इस बात का डर बना रहता है कि हाथ से निकल सकती है या निकल जाएगी ।।
यही हाल उन का भी होता है जहाँ लव मैरिज होती है।
आमतौर पर सबसे पहली और सबसे तगड़ी शिकायत यह ही रहती है :
शादी के बाद, “इनका” रवैया वैसा नही रहा जैसा कभी शादी से पहले था।
खोने का डर था, ना। (वो प्राईवेट नौकरी के जैसा है)
अब जाएगी, भी तो कैसे। (ये सरकारी नौकरी के जैसा है)
मुझे तो अपना पता है।
किसी भी सरकारी स्कूल का आँकड़ा देख लें।
और जो बच्चे वहाँ शिक्षा ग्रहण करने के लिए दाखिल होते हैं उनका ……
आज हालात ये बन चुके कि कोई भी समझदार माता पिता अपने बच्चे को सरकारी स्कूल में दाखिल नही करवाना चाहते।
जबकि सरकारी स्कूलों में पढ़ाने वाले शिक्षक P.E.S. के द्वारा दूध के ऊपर आनेवाली मलाई की तरह छँटे हुए लोग होते हैं।