पोस्टपेड सिम और प्रीपेड सिम में कौन ज्यादा बेहतर है ?

उपलब्ध सुविधाओं और गुणवत्ता के अनुसार पोस्टपेड सिम अच्छा होता है लेकिन कम खर्च के हिसाब से प्रीपेड सिम ज्यादा अच्छा होता है.

चूंकि पोस्टपेड में अब का मासिक आधार पर बिल आता है और इसका केवाईसी काफी अच्छी तरह से किया जाता है इसलिए टेलीकॉम कंपनी इस तरह के ग्राहकों को ज्यादा सुविधाएं उपलब्ध कराती है. इसमें कई टेलीकॉम कंपनी अतिरिक्त सुविधाएं जोड़ते हैं जैसे अमेजन प्राइम, नेटफ्लिक्स आदि का मुफ्त उपलब्ध होना.

पोस्टपेड कनेक्शन में इंटरनेट डाटा की गणना मासिक आधार पर की जाती है किन्तु बचे हुए डाटा को अगले माह मां के लिए स्थानांतरित कर दिया जाता है. किंतु प्रीपेड कनेक्शन में उपलब्ध डाटा की गणना रोज की जाती है और बचा हुआ डाटा समाप्त हो जाता है.

पोस्टपेड का सबसे बड़ा फायदा प्रतिबंधित क्षेत्रों में होता है, जहां दूसरे टेलीकॉम सर्किल से गए हुए प्रीपेड कनेक्शन काम नहीं करते किंतु पोस्टपेड कनेक्शन काम करते रहते हैं जैसा अभी तक जम्मू कश्मीर में होता है. पूर्व में मणिपुर और मेघालय में भी ऐसा होता था.

कई ऐसी जगह जहां टेलीकॉम कंपनी की उपस्थिति नहीं होती है वहां पोस्टपेड ग्राहकों के लिए अन्य टेलीकॉम कंपनियों से टाइप के आधार पर सुविधा उपलब्ध होती रहती है जबकि प्रीपेड के लिए यह सुविधा उपलब्ध नहीं होती है .

पोस्टपेड कनेक्शन का मासिक बिल काफी ज्यादा होता है जबकि प्रीपेड कनेक्शन में काफी कम होता है इसलिए खर्च के हिसाब से देखा जाए तो प्रीपेड में खर्चा बहुत कम आता है.

जिन लोगों को अपने कार्यालय से बिल देने के आधार पर भुगतान लेना होता है उनके लिए पोस्टपेड कनेक्शन लेना मजबूरी हो जाता है.

लागत और लाभ के सिद्धांत के अनुसार अगर विशेषण किया जाए तो आज के परिस्थितियों में प्रीपेड कनेक्शन ज्यादा उचित है क्योंकि लगभग एक पोस्टपेड कनेक्शन की लागत से आप दो प्रीपेड कनेक्शन रख सकते हैं.

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