क्या आपने भोजपुर का मशहूर व्यंजन पीठा खाया है? जानिए
पीठा, हमारे भोजपुर सहित पुरे शाहाबाद का मशहूर व्यंजन में से एक है जिसे ज्यादातर जाड़े के मौसम में बनाकर लोग इस का लुफ्त उठाते हैं। बिहार के कई अन्य जिले में भी इसे बड़े चाव से लोग बनवा कर खाते हैं।
इसे जाड़े के मौसम में ही ज्यादातर क्यों बनाया जाता है?
वैसे देखा जाए तो यह किसी भी मौसम में आप आसान तरीके से बना सकते हैं लेकिन जाड़े के मौसम में यह इसलिए ज्यादातर पसंद किया जाता है क्योंकि यह जिस सामग्री से तैयार किया जाता है बेहद ही सस्ता और आसान तरीके से मिल जाते हैं और जो भी सामग्री इसमें लगती है सभी नए साल की नई फसल होती है जैसे चावल, आलू, टमाटर, धनिया पत्ता, इत्यादि।
इसे 4 लोगो के लिए बनाने में कौन-कौन सी सामग्री लगती है ?
नए चावल का आटा 1kg।
नया आलू 500g-750g।
टमाटर (चटनी के लिए) वैकल्पिक है 250g।
गरम मसाले।
लहसुन पाता।
धनिया पत्ता।
नमक (स्वाद अनुसार)।
जीरा।
सरसों तेल/रिफाइंड तेल इत्यादि।
बनाने की विधि—
सबसे पहले चावल के आटे को एक कड़ाही में गैस पर मीडियम आच पर रखकर उसमें थोड़ा थोड़ा पानी डालकर गूद लेना है जब आटा लोई बनाने के स्थिति में आ जाए कड़ाही को उतार लेना है।
अब फिर से दूसरी कढ़ाई चढ़ाकर या कुकर में आलू को उबाल लेना है उबालने के बाद उसके छिलके को उतारकर उसे अच्छी तरीके से मैस कर लेना है ।
कड़ाही में सरसों तेल गरम मसाले जीरा इत्यादि डालकर मैश किए हुए आलू को भून लेना है और फिर उतार कर अलग रख लेना है। उसमें कटे हुए धनिया का पत्ता लहसुन पत्ता डालकर फिर से मिला लेना है।
अब गूदे हुए आटे के लोई में आलू को भर के बड़े गुजिया का आकार देना है इस प्रकार से सारे मैश किए हुए आलू आटे के अंदर भरकर रख लेना है उसके बाद एक कड़ाही में आधे कड़ाही पानी गर्म करना है उसमें एक पॉलीथिन बिछानी है या फिर आप देहात गांव में निवास करते हैं तो थोड़ा सा धान का पुआल भी बिछा सकते हैं ताकि जब आप का पीठा उस पानी के अंदर डाला जाए तो वह कड़ाही में सट्टे नहीं।
उसके बाद हाई फ्लैम पर ढक कर उसे पकाना हैऔर देखते रहना है की पानी एकदम से सूखे नहीं जब लगेगी आपका पिठा पूरी तरह से पक गया है या कोई कोई पीठा आपको फटा हुआ नजर आने लगा तो आप उसे उतार ले और ठंडा होने दें।
और तब तक टमाटर का चटनी तैयार कर ले अपने पसंद के अनुसार मीठा या नमकीन।। फिर आप इसे अपने परिवार जनों के साथ सर्व करें