किसे वंशलोचन (Bamboo Manna) कहा जाता है ? जानिए

वंशलोचन स्त्री प्रजाति के बाँस पेड़ों से प्राप्त एक प्रकार की हर्बल सिलिका है l

बांस सिलिका (FOLIUM BAMBUSEA) में अन्य सिलिका स्रोतों की तुलना में अधिक सिलिकॉन डाइऑक्साइड होता है। इसमें लगभग 70 से 90% सिलिका होती है। इसमें मुख्य तौर पर सिलिका (सिलिकॉन डाइऑक्साइड) होती है, जो हड्डियों, स्नायुबंधन, tendons और त्वचा के लिए एक महत्वपूर्ण तत्व है।

इसमें शरीर के लिए आवश्यक अन्य सूक्ष्म पोषक तत्व होते हैं। यह समग्र स्वास्थ्य में सुधार करता है l वंशलोचन का शरीर के ऊतकों पर पुनर्स्थापनात्मक प्रभाव होता है।

वंशलोचन में कई औषधि गुण होते है।

आयुर्वेद के अनुसार, यह प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है, इसलिए यह सितोपलादि चूर्ण का एक मुख्य घटक है जिसका उपयोग इम्युनो-मॉड्यूलेटर के रूप में किया जाता है।

यह सर्दी और बहती नाक के लिए बहुत प्रभावी दवा है।

वंशलोचन में अल्सर से बचाव करनेवाले गुण हैं। प्रवाल पिष्टी, मुक्ता पिष्टी, और यशद भस्म के साथ, यह पेप्टिक अल्सर और आंत्र सूजन के रोगों जैसे अल्सरेटिव कोलाइटिस और Crohn’s disease में उत्कृष्ट परिणाम देता है।

बालों के विकास को प्रोत्साहित कर बालों को मजबूत बनाता है। यह प्रभाव उसमें स्थित प्राकृतिक सिलिका के कारण है। इसमें मौजूद सिलिका बालों को पतला होने से और बाल झड़ने से रोकता है।

खांसी के लिए प्रसिद्ध आयुर्वेदिक औषधी योग – सितोपलादि चूर्ण में वंशलोचन एक मुख्य घटक है। यह कफनिःसारक, जीवाणुरोधी, खांसी नियंत्रक होने से खांसी में काफी लाभदायक होता है।

डॉ वैद्याज् के ब्रोंकोहर्ब पाउडर और एलर्जिक पिल्स में भी वंशलोचन एक मुख्य घटक है।

सावधानियां : आयुर्वेद के अनुसार, वंशलोचन ज्यादा मात्रा में लेना प्रोस्टेट ग्रंथि और फेफड़ों के लिए अच्छा नहीं है Iपथरी होनेपर और स्तनपान के दौरान इसका प्रयोग ना करे l

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